रांची: झारखंड भाजपा के आर्थिक प्रकोष्ठ के तत्वावधान में आज चैंबर भवन रांची में केंद्रीय बजट 2025-26 पर परिचर्चा का आयोजन हुआ. मुख्य अतिथि के रूप में केंद्रीय संस्कृति एवं पर्यटन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने संबोधित किया. कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी सहित विधायक सीपी सिंह,क्षेत्रीय संगठन महामंत्री नागेंद्र त्रिपाठी ,प्रदेश कोषाध्यक्ष दीपक बंका,रांची महानगर अध्यक्ष वरुण साहू,प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक जेपी शर्मा सहित शहर के गण मान्य सीए, सीएस, अधिवक्ता,चिकित्सक ,प्राध्यापक , सहित प्रबुद्ध जन उपस्थित थे.
केंद्र सरकार के आम बजट पर रोशनी डालते हुए गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि यह केंद्रीय बजट विकसित भारत का हाइवे है जिसपर बढ़ते भारत,बदलते भारत की गाड़ी तेज रफ्तार से दौड़ रही है.
उन्होंने कहा कि विकसित भारत 2047 का रोडमैप सुधारों को ईंधन और समावेशिता को मार्गदर्शक मानते हुए विकसित भारत की गति निर्धारित करने का लक्ष्य बनाया है.

उन्होंने कहा कि केंद्रीय बजट चार प्रमुख इंजनों द्वारा संचालित है जिसमें ग्रामीण समृद्धि केलिए कृषि,उद्यमिता और रोजगार सृजन केलिए एमएसएमई ,बुनियादी ढांचे और नवाचार केलिए निवेश और वैश्विक प्रतिस्पर्धा के साथ आर्थिक वृद्धि केलिए निर्यात प्रमुख है.
उन्होंने आगे कहा कि इस बजट का लक्ष्य छह आयामी दृष्टिकोण पर आधारित है जिसमें विकास को गति देना,समावेशी विकास को सुरक्षित करना ,भारत के मध्यम वर्ग की क्रय शक्ति को बढ़ाना,निजी क्षेत्र के निवेश को प्रेरित करना और घरेलू भावना को मजबूत करना शामिल है. मोदी सरकार बेहतर भविष्य केलिए मध्यम वर्ग को सशक्त बनाने पर जोर दे रही है.ताकि उनकी क्षमता को बढ़ाया जा सके.
कहा कि मोदी सरकार विवाद से विश्वास की नीति को अपनाया है.आज आयकर विभाग पहले करदाता पर विश्वास करता है फिर उसकी जांच करता है.मोदी सरकार ने वरिष्ठ नागरिकों केलिए ब्याज पर कर कटौती की सीमा पचास हजार से बढ़ाकर एक लाख कर दिया, टीडीएस की वार्षिक सीमा 6लाख कर दिया,जीरो टैक्स की सीमा 7लाख से बढ़ाकर 12 लाख कर दिया.
उन्होंने कहा कि अन्नदाताओं के समग्र कल्याण ,विश्व स्तरीय शिक्षा के माध्यम से युवाओं के सशक्तिकरण,सामाजिक न्याय और सभी वर्गों के कल्याण से अमृतकाल की अभिव्यक्ति के माध्यम से मानव संसाधन क्षमता का विकास आर्थिक विकास का महत्वपूर्ण स्तंभ है. जिसके लिए सक्षम आंगनबाड़ी केंद्र और पोषण 2.0कार्यक्रमों को सशक्त बनाया जा रहा है। देश भर में ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स पर कार्यरत 1करोड़ से अधिक गिग वर्कर्स की जरूरतों को भी पहचाना गया है. उन्होंने यह भी कहा कि झारखंड सरकार के द्वारा 136000 करोड़ रुपया बकाया होने का जो दावा किया जा रहा है वह पूरी तरह से भ्रामक है और तथ्य से परे है. यह राज्य सरकार की विफलता पर पर चादर ढकने जैसा है.












